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रुपरेखा : प्रस्तावना - विश्व निद्रा दिवस २०२१ - विश्व निद्रा दिवस क्यों मनाया जाता है - नींद पूरी न होने पर क्या समस्याएं होती है - विश्व निद्रा दिवस का महत्व - उपसंहार।
प्रस्तावना -वर्ल्ड स्लीप डे अर्थात विश्व निद्रा दिवस हर साल मार्च के महीने में दुनिया भर में मनाया जाता है। यह दिन मार्च विषुव से पहले शुक्रवार को वार्षिक रूप से मनाया जाता है। विश्व निद्रा दिवस मनाने का उद्श्य समाज में उम्र बढ़ने और नींद का स्वास्थ्य में क्या अहमियत है, इसके प्रति समाज में जागरूकता बढ़ाने के रूप में मनाया जाता है। स्वस्थ उम्र बढ़ने और बेहतर तरीके से सोने की बेहतर समझ के रूप में उम्र बढ़ने के साथ समाज पर खराब स्वास्थ्य के समग्र बोझ को कम करने में मदद मिलती है।
वर्ष 2021 में, 19 मार्च शुक्रवार के दिन विश्व निद्रा दिवस अथवा वर्लड स्लीप डे मनाया जायेगा। पिछले वर्ष की थीम ‘स्वस्थ नींद, स्वस्थ उम्र’ था।
आजकल की बदलती जीवनशैली में ज़्यादातर लोगों को नींद न आने की समस्या है। नींद न आने की इस समस्या को इन्सोमनिया कहते हैं। इसका मुख्य कारण टेंशन, वातावरण में बदलाव, हॉर्मोंन्स में बदलाव है। नींद उतनी ही जरूरी है जितना कि खाना और व्यायाम। यदि आपकी नींद पूरी नहीं होगी तो सिर दर्द, पेट खराब जैसी तमाम तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ता है। लोगों को नींद के प्रति जागरूक करने के उद्देश्य से ही विश्व निद्रा दिवस के कमेटी द्वारा लोगों को सोने के लाभ बताने के लिए हर साल यह अभियान चलाया जाता है अर्थात विश्व निंद्रा दिवस के रूप में मनाया जाता है।
नींद पूरी न होने पर मनुष्य के शरीर में कई समस्याएं उत्पन्न होती है जो की दो तरह का होता है, ट्रान्जिएंट और क्रॉनिक। एक शरीर ठीक से काम करे इसके लिए कम से कम 6-8 घंटे की नींद बेहत जरूरी है। जो लोग कम सोते हैं उनके शरीर में लेप्टिन (भूख बढ़ाने वाला हार्मोन ) का स्तर कम होने की संभावना बढ़ जाती है जिसके कारन हमे भूख ज्यादा लगने लगती है।
आजकल की भागदौड़ भरी जिंदगी में लोग सोना कम कर दिए है जिसके कारण तमाम तरह की समस्याएं रहती हैं। इसी नींद न आने की समस्या को इन्सोमनिया कहते हैं। यह आमतौर पर लाइफ स्टाइल में बदलाव होने की वजह से होता है। जिस तरह से शरीर के लिए तमाम तरह के विटामिनों की जरूरत होती है ठीक उसी तरह से शरीर के लिए नींद भी जरूरी है। डॉक्टर भी हर किसी को बेहतर नींद लेने के लिए कहते हैं क्योंकि यदि आप पूरी नींद नहीं लेंगे तो आपको अन्य तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ जाएगा जिस वजह से कई लोगों को अस्पतालों के जरुरत पड़ जाती है। कई डॉक्टरों सलाह देते है कि आप रात के समय जब भी खाना खाएं तो उसके तुरंत बाद ही सोने के लिए बिस्तर न चले जाएं क्यूंकि खाना खाने के बाद तुरंत सोने से सेहत पर बुरा असर पड़ता है जैसे ब्लड शुगर और इंसुलिन बढ़ जाना, आदि। नींद पूरी न होने से बढ़ती समस्या को देखते हुए इस अभियान को चलना आवश्यक है जिसके माध्यम से हम लोगों को इससे प्रेरित कर सके।
सही नींद न होने पर विश्व में लोगों की बढ़ती समस्या को देखते हुए विश्व निंद्रा दिवस अर्थात वर्ल्ड स्लीप डे अभियान चलाये जाने की पहल शुरू की गयी। इस अभियान के अवसर पर कई जगह जागरूकता कार्यकर्म जैसे सेमिनार, प्रतियोगिता आदि का आयोजन किया जाता है। इंसान को सही समय पर खाना और सोना बेहत जरुरी है जिससे इंसान को कई तरह की परेशानी से छुटकारा मिल जाता है और स्वस्थ रहते है। इसीलिए सही नींद सभी के लिए बहुत जरूर है जो तनाव, परेशानी इन सब से हमे दूर रखती है।
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