विश्व मलेरिया दिवस पर निबंध

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रुपरेखा : प्रस्तावना - विश्व मलेरिया दिवस २०२१ - विश्व मलेरिया दिवस का इतिहास - मलेरिया क्या है - मलेरिया कैसे फैलता है - मलेरिया के लक्षण - मलेरिया से बचाव - विश्व मलेरिया दिवस का उद्देश्य - विश्व मलेरिया दिवस थीम - उपसंहार।

प्रस्तावना / विश्व मलेरिया दिवस -

विश्व मलेरिया दिवस को अंग्रेजी में 'World Malaria Day' कहते है। हर साल 25 अप्रैल को सम्पूर्ण विश्व में विश्व मलेरिया दिवस मनाया जाता है। यह दिन का उद्देश्य मलेरिया के बारे में लोगों में जागरूकता फैलाना है। यह दिन सर्वप्रथम 25 अप्रैल 2008 को मनाया गया था। मलेरिया एक गंभीर और घातक बीमारी है जिसके कारण हर साल लाखों लोगों की मौत होती हैं। यह बीमारी मच्छर के कांटने से फैलती है।


विश्व मलेरिया दिवस कब मनाया जाता है / विश्व मलेरिया दिवस 2021 कब है / मलेरिया दिवस कब मनाया जाता -

मलेरिया जैसे गंभीर घातक बीमारी को रोकने के लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन ने हर साल २५ अप्रैल को विश्व मलेरिया दिवस मनाया जाता है। विश्व मलेरिया दिवस 2021, 25 अप्रैल को रविवार के दिन मनाया जाता है। विश्व मलेरिया दिवस 2021 की थीम ‘जीरा मलेरिया लक्ष्य की ओर बढ़ना’ है।


विश्व मलेरिया दिवस का इतिहास / विश्व मलेरिया दिवस की शुरुवात -

मलेरिया जैसे गंभीर घातक बीमारी को रोकने के लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन ने हर साल २५ अप्रैल को विश्व मलेरिया दिवस मनाने की घोषणा की। विश्व मलेरिया दिवस की शुरुआत 25 अप्रैल 2008 को हुई थी। सर्वप्रथम 25 अप्रैल 2008 को विश्व मलेरिया दिवस मनाया गया था।


मलेरिया क्या है / मलेरिया बीमारी किसे कहते है -

मलेरिया मच्छरों से फैलने वाली एक ऐसी बीमारी है जो मानव शरीर के सम्पर्क में आते ही इंसान को बहुत तेज भुखार, पसीना, ठंड और कँपकँपी, सिरदर्द, माँसपेशियों में दर्द, थकान, जी मचलना, उल्टी, दस्त आने लगता है, यदि समय पर इसका सही इलाज नहीं किया जाता है तो मानव को भारी नुकसान उठाना पड़ता है। मलेरिया की बीमारी मच्छर के काटने से होता है।


मलेरिया कैसे फैलता है / मलेरिया कैसे होता है / मलेरिया बीमारी -
  • मलेरिया एक परजीवी रोगाणु से होता है, जिसे हम प्लाज्मोडियम कहते हैं।
  • यह रोगाणु एनोफ़ेलीज़ जाति के मादा मच्छर में होते हैं और जब यह मादा मच्छर किसी व्यक्‍ति को काटती है, तो उसके खून की नली में मलेरिया के रोगाणु फैल जाते हैं।
  • यह रोगाणु व्यक्‍ति के कलेजे की कोशिकाओं तक पहुँचते हैं और वहां उनकी गिनती बढ़ती जाती है।
  • रोगाणुओं का लाल रक्‍त कोशिकाओं पर हमला करने और कोशिकाओं के फटने का सिलसिला जारी रहता है। मलेरिया का मुख्य लक्षण ही लाल रक्‍त कोशिकाओं पर हमला और कोशिकाओं के फटना होता हैं।
  • मलेरिया की तरह डेंगू भी मच्छरों से फैलने वाली बीमारी है जो अधिकतर बरसात के मौसम में होती है डेंगू के मच्छर अक्सर सूर्यास्त होने के बाद ही इंसानों को अपना निशाना बनाते है।
  • आप में से बहुत कम लोग ही जानते होंगे कि केवल मादा मच्छर ही इंसान को काटती है जबकि नर मच्छर कभी नहीं काटता, मादा मच्छर को अंडे पैदा करने के लिए प्रोटीन की जरुरत होती है इसलिए खून चूसती है।

मलेरिया के लक्षण / मलेरिया के लक्षण हिंदी / मलेरिया बीमारी के लक्षण इन हिंदी -
  • बुखार आना।
  • पसीना आना।
  • सिर दर्द होना।
  • कमजोरी लगना।
  • कमर में दर्द होना।
  • शरीर में दर्द आना।
  • उल्टी होना। (कभी-कभी उलटी नहीं भी होती है )

मलेरिया से बचाव / मलेरिया के बचाव के उपाय / मलेरिया से बचने के उपाय -

मलेरिया जैसे घातक बीमारी से बचने के लिए जरूरी है कि मच्छरों से बचा जाए। मच्छरों से बचने के लिए कुछ सावधानियाँ रखना आवश्यक है, जैसे -

  • जहाँ तक हो पूरी बाँह के कपड़ों का प्रयोग करें।
  • सोते समय मच्छरदानी का प्रयोग करें।
  • बंद कमरे में जितना हो सके क्वॉइल का प्रयोग न करें।
  • घर में पानी को जमा न होने दें।
  • अगर आसपास पानी जमा है तो उसमें ऑइल डाल दें, जिससे मच्छर नहीं पनपेंगे। घर के आसपास हमेशा सफाई रखें और पानी न जमा होने दें। मच्छर पानी में ही अंडे देते हैं इसलिए कूलर की टंकी, आसपास के गड्ढों या ऐसी किसी भी जगह पानी जमा न होने दें।
  • थोड़ा भी बुखार आने पर डॉक्टर से परामर्श लें।
  • इलाज से बेहतर होता है बचाव करना। इसलिए मच्छरों से बचने के लिए घर के दरवाजों और खिड़कियों में लोहे की जाली लगवाएं।
  • मानसून या गर्मी में खुद को अच्‍छी तरह से हाइड्रेट रख कर आप मलेरिया को मात दे सकते हैं। इसके लिये आपको दिर भर में पर्याप्त पानी पीने के अलावा नारियल पानी, जूस आदि भी पीने चाहिये।
  • मच्छर हमेशा घर के दरवाजे और खिड़कियों के पास और कोनों में छिपे रहते हैं। इन जगहों पर मच्छर मारने वाले स्प्रे जरूर डालें। इसके अलावा आप मच्छरों वाली रिफिल का भी इस्तेमाल करें।
  • ऐसी जगह जहां पर कूड़ा या गंदगी पड़ी हो, वहां पर ना जाएं क्‍योंकि वह जगह मच्‍छरों के पनपने की अच्छी जगहें होती हैं।

विश्व मलेरिया दिवस का उद्देश्य -

यूनिसेफ़ द्वारा इस दिन को मनाने का उद्देश्य मलेरिया जैसे ख़तरनाक रोग से लोगों को जागरूक और उनकी जान की रक्षा करना है। विश्व मलेरिया दिवस मनाने का उद्देश्य मलेरिया को नियंत्रित करना और लोगों को मलेरिया रोग के प्रति जागरूक करना है। यह दिवस का मुख्य उद्धेश्य मलेरिया से संक्रमित लोगों की जान बचाना है।

विश्व मलेरिया दिवस की थीम / विश्व मलेरिया दिवस का विषय / विश्व मलेरिया दिवस 2021 की थीम -

हर साल एक नए विषय के साथ विश्व मलेरिया दिवस (World Malaria Day) मलेरिया को खत्म करने के प्रयास करता है और लोगों को मलेरिया जैसे बीमारी से बचाने का एक अहम भूमिका निभाती है।

  • विश्व मलेरिया दिवस 2020 के लिए थीम ‘जीरो मलेरिया स्टार्ट विद मी’ ( "Zero malaria starts with me.") है।
  • विश्व मलेरिया दिवस 2021 के लिए थीम 'जीरा मलेरिया लक्ष्य की ओर बढ़ना' है।

उपसंहार -

हर साल विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा 25 अप्रैल को मलेरिया जैसी गंभीर बीमारी पर काबू पाने के लिए विश्व मलेरिया दिवस मनाया जाता है। हम सभी को एकजुट होकर मलेरिया को जड़ से मिटाने के लिए प्रयास करने चाहिए और विश्व मलेरिया दिवस की मदद करनी चाहिए। तभी हम इस बीमारी से मुक्ति पा सकते हैं। विश्व मलेरिया दिवस हर साल मलेरिया की रोकथाम, नियंत्रण और उन्मूलन की आवश्यकता पर प्रकाश डालने के लिए 25 अप्रैल को मनाया जाता है। यह दिन लोगों को मलेरिया के खिलाफ लड़ाई लड़ने में एक अहम भूमिका निभाता है। मलेरिया रोग के बारे में बेहतर समझ और इसकी देखभाल कैसे करें, इसके लिए लोगों को शिक्षा प्रदान करना भी आवश्यक है। यह दिवस मलेरिया पर काबू पाने के लिए जानकारी देता है तथा जागरूक करता है।


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